Thursday, 6 October 2011

आज अशोकविजय दशमी है,आज ही के दिन डॉ.babasahjeb आंबेडकर ने ब्रम्हाणी धर्म को छोड़ दिया था.और बौद्ध धम्म अपनाया था.मगर मायावतीजी को इसकी याद भी नहीं है. मगर उन्हें दसहरा और दुर्गा की याद है.वोते पाने के लिए महापुरुषों का और सिधान्तो का सौदा नहीं करना चाहिए. मायावती और उनके पार्टी सदस्य द्विवेदी की यह तस्वीर क्या कहती है? ब्राम्हणों को साथ लेने से फिओर से pratikranati अति है,ब्रहदत्त को नहीं छोड़ा मायावती की क्या बात है.


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